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Bihar Board Chemistry VVI Subjective Question || धातु एवं अधातु ( लघु उत्तरीय प्रश्न ) || Dhaatu Evan Adhaatu Laghu Uttareey Prashn

Bihar Board Chemistry VVI Subjective Question : दोस्तों यहाँ पर रसायन विज्ञान का VVI Subjective Question दिया हुआ है। जिसे पढ़ कर हो सके तो आप मैट्रिक Board Exam में अच्छे अंक प्राप्त क्र सकते हैं। bseb class 10th science subjective questionDrishtiClasses.Com | PDF Download

धातु एवं अधातु

Bihar Board Chemistry VVI Subjective Question

1. कार्बनिक यौगिकों के कुछ गुणों को लिखें।

उत्तर⇒कार्बनिक यौगिकों के निम्नांकित गुण हैं-

(i) अधिकांश कार्बनिक यौगिक अच्छे विद्युत के चालक नहीं होते हैं।
(ii) इनके गलनांक एवं क्वथनांक निम्न होते हैं।
(iii) इनके परमाणुओं के बीच प्रबल आकर्षण बल नहीं होते हैं।
(iv) इन यौगिकों के आबंध से आयन की उत्पत्ति नहीं होती है।
(v) ये जल में घुलनशील नहीं होते हैं लेकिन पेट्रोल, डीजल, कार्बन डाइसल्फाइड जैसे-कार्बनिक पदार्थों में घुलनशील होते हैं।


2. कार्बनिक यौगिकों की संख्या इतनी अधिक क्यों है ?

उत्तर⇒क्योंकि कार्बन परमाणु अन्य परमाणुओं के साथ इलेक्ट्रॉनों को साझा कर यौगिक बनाते हैं। यही कारण है कि कार्बनिक यौगिकों की संख्या इतनी अधिक है।


3. कार्बन के चार यौगिकों के नाम लिखें।

उत्तर⇒ एसिटीक एसिड  –    CH3COOH
क्लोरोफॉर्म         –     CH2Cl3
एथेनॉल             –     CH3CH2OH
मिथेन                –     CH4


4. कार्बन यौगिकों के तीन रासायनिक गुणधर्मों का उपयुक्त रासायनिक अभिक्रिया के साथ उल्लेख करें।

उत्तर⇒ (i) कार्बन यौगिक ऑक्सीकरण अभिक्रिया के फलस्वरूप ऊष्मा एवं प्रकाश उत्पन्न करते हैं।

CH4 + 02    →    CO2+ H2O + ऊष्मा + प्रकाश
  CH3CH2OH + 02  →    CO2 + H2O + ऊष्मा + प्रकाश

(ii) एथनॉइक अम्ल क्षार (NaOH) के साथ अभिक्रिया कर सोडियम एसीटेट का निर्माण करता है।

NaOH + CH3COOH    →   CH3COONa + H2O

(iii) कार्बन यौगिक एथनॉल सोडियम के साथ अभिक्रिया कर सोडियम एथॉक्साइड तथा हाइड्रोजन गैस मुक्त करता है।

2Na + 2CH3CH2OH    →   2CH3CH2O-Na+ H2


5. कार्बन के दो गण-धर्म कौन-से हैं जिनके कारण हमारे चारों ओर कार्बन यौगिकों की विशाल संख्या दिखाई देती है ?

उत्तर⇒कार्बन की चतु: संयोजकता तथा शृंखलन दो ऐसे विशिष्ट गण हैं जिनके चलते कार्बन यौगिकों की संख्या अधिक है।


6. कार्बन के कितने अपरूप हैं। इनमें से कौन अधिक कठोर और कौन मुलायम है ?

उत्तर⇒कार्बन के मुख्यतः दो अपरूप हैं हीरा और ग्रेफाइट। हीरा काफी कठोर और ग्रेफाइट मुलायम होता है। हीरे का उपयोग गहना बनाने में और ग्रेफाइट का उपयोग लुब्रीकेंट के रूप में होता है।


7. कार्बनिक यौगिकों के क्वथनांक और गलनांक कम होते हैं, इससे इनकी प्रकृति के बारे में क्या कहा जा सकता है ?

उत्तर⇒कार्बनिक यौगिकों के क्वथनांक और गलनांक निम्न होने का कारण है कि इन यौगिकों के अणुओं के बीच प्रबल बंधन नहीं होते हैं। अतः बंधन बनाने के लिए आयनों का निर्माण नहीं करता है।


8. क्या आप डिटर्जेंट का उपयोग कर बता सकते हैं कि कोई जल कठोर है या नहीं ?

उत्तर⇒अपमार्जक (डिटर्जेंट) लंबी कार्बोक्सिलिक अम्ल श्रृंखला के अमोनियम एवं सल्फोनेट लवण होते हैं। इन यौगिकों का आवेशित सिरा कठोर जल में उपस्थित कैल्सियम एवं मैग्नीशियम आयनों के साथ अघुलनशील पदार्थ नहीं बनाते हैं। कठोर जल में भी अपमार्जक प्रभावी बने रहते हैं। ऐसी अवस्था में डिटर्जेंट का उपयोग कर कार्ड जल कठार है, इसके बारे में कहना कठिन है।


9. समजातीय श्रेणी किसे कहते हैं ?

उत्तर⇒कार्बन के यौगिकों का एक ऐसा समूह होता है जिसकी संरचनाएँ तथा रासायनिक गण समरूप होती हैं तथा दो क्रमागत सदस्यों के बीच CH.का अन्तर हाता हे समजातीय श्रेणी कहते हैं।

उदाहरण – एल्कन्स का समजातीय श्रेणी CH.C2H. C3H8 आदि है जिसके क्रमागत सदस्यों के बीच सदा  -CH2 का अन्तर है।


10. समावयवता किसे कहते हैं ? एक उदाहरण दें।

उत्तर⇒समान आण्विक सूत्र लेकिन विभिन्न संरचनाओं वाले ऐसे यौगिक संरचनात्मक समावयन कहलाते हैं। ये दो यौगिक ब्यूटेन के समावयवी कहे जाते हैं। ब्यूटन के दो समावयवी नॉर्मल ब्यूटेन और आइसो ब्यूटेन हैं। इस गुण को समावयवता कहते हैं।

ब्यूटेन का सूत्र C4H10 है।


Chemistry Subjective Questions For Bihar Board Exam

11. एथनॉल के कुछ उपयोगों को लिखें।

उत्तर⇒ (i) इसका उपयोग टिंचर आयोडिन, कफ सीरप, टॉनिक आदि औषधियों के बनाने में होता है।
(ii) इसका उपयोग पीने में होता है।
(iii) शुद्ध एल्कोहल का उपयोग घातक है।


12. सह-संयोजी आबंध किसे कहते हैं ?

उत्तर⇒दो परमाणुओं के बीच इलेक्ट्रोन की एक युग्म की साझेदारी के द्वारा बनाने वाले आबंध सहसंयोजी आबंध कहलाते हैं। सह-संयोजी आबंध वाले अणुओं में भीतर तो प्रबल आबंध होता है लेकिन इनका अंतराणुक बल कम होता है। इन यौगिकों के क्वथनांक और गलनांक कम होते हैं। चूँकि परमाणुओं के बीच इलेक्ट्रोनों की साझेदारी होती है और आवेशित कण बनते हैं। ऐसे यौगिक विद्युत के कुचालक होते हैं।


13. डिटरजेंट कठोर जल में झाग क्यों देता है ?

उत्तर⇒का निर्माण कर साबुन के समान क्रिया करता है तथा झाग उत्पन्न करता है।


14. हाइड्रोजनीकरण क्या है? इसका औद्योगिक अनुप्रयोग क्या है ?

उत्तर⇒ वनस्पति तेलों में साधारणतः लंबी असंतृप्त कार्बन शृंखलाएँ होती हैं। निकेल उत्प्रेरक का उपयोग करके वनस्पति तेलों को हाइड्रोजनीकरण किया जाता है।

असंतृप्त हाइड्रोकार्बन को H से योग कर संतृप्त हाइड्रोकार्बन प्राप्त करना हाइड्रोजनीकरण कहलाता है।


15. समावयवी क्या है ?

उत्तर⇒ कुछ ऐसे कार्बनिक यौगिक होते हैं जिनके अणुसूत्र तो समान होते हैं लेकिन उनके संरचना सूत्र भिन्न-भिन्न होते हैं। ये यौगिक एक दूसरे के समावयवी कहे जाते हैं। यह गुण समावयवता कहलाती है। जैसे एथिल एल्कोहल और डायमिथायल ईथर। इनके अणु सूत्र C2H60 है।


16. हीरा और ग्रेफाइट के गुणों में अन्तर होने के क्या कारण हैं ?

उत्तर⇒ हीरा में प्रत्येक कार्बन परमाणु चार अन्य परमाणुओं से जुड़ा होता है। इस प्रकार एक दृढ़ त्रिआयामी संरचना बनती है। अतः हीरा अत्यन्त कठोर होता है।ग्रेफाइट में कार्बन परमाणु अन्य तीन कार्बन परमाणुओं से जुड़ा होता है। अतः यह हेक्सागोनल प्लेटों के रूप में रवा बनाता है। प्लेटों के बीच इलेक्ट्रॉन भरे रहने के कारण यह सुचालक भी है।


17. सिरका क्या है ? इसके उपयोगों को लिखें।

उत्तर⇒सिरका ऐथेनॉइक अम्ल का तनु घोल है। इसमें अन्य पदार्थ जैसे एस्टर, शर्करा, जेक्सट्रीन आदि तथा अन्य अम्ल घुले होते हैं। सिरके का उपयोग-सुगंध पैदा करने वाले पदार्थ और अचार आदि में परिरक्षक के रूप में भी किया जाता है।


18. एथनॉइक अम्ल के भौतिक गुण धर्मों को लिखें।

उत्तर⇒एथनॉइक अम्ल को साधारणतः एसिटीक अम्ल कहा जाता है। यह अम्ल कार्बोक्सिलिक अम्ल समूह से संबंधित है। एसिटीक अम्ल के 3-4% विलियन को सिरका कहा जाता है। यह अचार में परिरक्षक का काम करता है। शुद्ध एथनॉइक अम्ल का गलनांक 290 K होता है। शीत के मौसम में यह जम जाता है। इसलिए इसे ग्लैशियल एसिटीक अम्ल कहा जाता है। खनिज अम्लों की तुलना में इसकी अम्लीयता दुर्बल है। यह आयनीकृत नहीं होता है। यह जल में आसानी से घुल जाता है।


19.ईंधन के रूप में एल्कोहल का इस्तेमाल कैसे किया जाता है ?

उत्तर⇒गन्ना सूर्य के प्रकाश में रासायनिक ऊर्जा में बदलने में सर्वाधिक सक्षम होता है। गन्ने का रस (सिरका) बनाने के उपयोग में लाया जाता है जिसका किण्वन करके एल्कोहल तैयार किया जाता है। कुछ देशों में एल्कोहल में पेट्रोल मिलाकर स्वच्छ ईंधन के रूप में उपयोग किया जाता है। यह ईंधन पर्याप्त ऑक्सीजन होने पर केवल कार्बन डाइऑक्साइड एवं जल उत्पन्न करता है।


20. एथनॉल (C2H5OH) के भौतिक गुणधर्मों को लिखें।

उत्तर⇒एथनॉल के भौतिक गुणधर्म
(i) रंगहीन द्रव है।
(ii) इसका गंध सुनहला है।
(iii) यह उर्ध्वपतित द्रव है तथा इसका क्वथनांक 78°C (351 K) है।
(iv) यह जल से हल्का होता है।
(v) यह जल में घुलनशील है।
(vi) यह लिटमस के प्रति उदासीन है।


Chemistry subjective VVI Subjective Questions

21. सजीव प्राणियों पर एल्कोहल का क्या प्रभाव पड़ता है ?

उत्तर⇒अधिक मात्रा में एथनॉल का सेवन करने पर उपापचयी प्रक्रिया धीमी पड़ जाती है। केन्द्रीय तंत्रिका तंत्र कमजोर हो जाता है। इसके कारण समन्वय की कमी हो जाती है, मानसिक दुविधा, अनिद्रा, भावशून्यता आ जाती है । मेथनॉल की थोड़ी-सी मात्रा लेने पर मृत्यु हो सकती है। मेथनॉल यकृत में ऑक्सीकृत होकर मेथेनैल बन जाता है। मेथेनैल यकृत की कोशिकाओं के घटकों के साथ शीघ्र अभिक्रिया करने लगता है। इससे प्रोटोप्लाज्म नष्ट होने लगता है। यह चक्षु तंत्रिका को भी प्रभावित करता है और व्यक्ति अंधा हो जाता है।


22. कठोर जल को साबुन से उपचारित करने पर मैली के निर्माण को समझाएँ।

उत्तर⇒ कैल्सियम तथा मैग्नीशियम लवणों की उपस्थिति के कारण जल कठोर हो जाता है। जब कठोर जल को साबुन से उपचारित किया जाता है तब साबुन कैल्सियम तथा मैग्नीशियम लवणों के साथ अभिक्रिया कर अविलय पदार्थ बनाते हैं। यह अविलेय पदार्थ मैली का निर्माण करते हैं।


23. जीवाश्म ईंधन से आप क्या समझते हैं ? इसका निर्माण कैसे होता है ?

उत्तर⇒करोड़ों वर्षों तक पृथ्वी की सतह में गहरे दबे हुए पौधों तथा पशुओं के अवशेषों से प्राप्त ईंधन को जीवाश्म ईंधन कहते हैं। कोयला और पेट्रोलियम जीवाश्म ईंधन हैं।


24. कार्बन तत्त्व एक अद्वितीय तत्त्व है। कैसे ?

उत्तर⇒ सभी ज्ञात परमाणुओं में से केवल कार्बन परमाणुओं में ही यह क्षमता कि वे आपस में मिलकर लंबी श्रृंखला बनाते हैं । प्रत्येक ऐसी लंबी श्रृंखला कार्बन परमाणु को इस प्रकार का सरल आधार प्रदान करती है जिसमें अन्य परमाण विभिन्न विधियों द्वारा जड सकते हैं जिसके परिणामस्वरूप कार्बन तत्त्व टाग किस्मों के यौगिक बनाए जा सकते हैं।


25. समजातीय श्रेणी क्या है ? उदाहरण के साथ समझाइए।

उत्तर⇒यौगिकों की ऐसी श्रृंखला जिसमें कार्बन श्रृंखला में स्थित हाइड्रोजन को एक ही प्रकार का प्रकार्यक समूह प्रतिस्थापित करता है उसे समजातीय श्रेणी कहते हैं। इसके दो क्रमागत सदस्यों में CH2 ग्रुप का अंतर होता है,

जैसे-एल्केन, सजातीय श्रेणी का सामान्य सूत्र CHnH2n+2है । इस श्रेणी के सदस्य मिथेन CH4 , इथेन C2H6,  प्रोपेन C3H8 , ब्यूटेन C4H10 , पेंटेन C15 H12 , हैक्सेन C6H14 आदि हैं।


26. एस्टीरीफिकेशन (esterification) अभिक्रिया क्या है ? समीकरण द्वारा बतायें।

उत्तर⇒अम्ल तथा ऐल्कोहॉल की अभिक्रिया से ऐस्टर तथा जल बनते हैं। इस अभिक्रिया को ऐस्टरीकरण कहते है। उदाहरणार्थ ऐसीटिक अम्ल तथा ऐथिल ऐल्कोहॉल की अभिक्रिया से ऐस्टर ऐसीटेट का बनना ऐस्टरीकरण है।


27. सजातीय श्रेणी के लक्षण लिखें।

उत्तर⇒सजातीय श्रेणी के मख्य लक्षण निम्न हैं-

(i) किसी भी सजातीय श्रेणी के सभी सदस्यों को एक सामान्य सत्र के द्वारा प्रकट किया जा सकता है, जैसे एल्केन सजातीय श्रेणी के सभी सदस्योंएक ही सामान्य सूत्र CH, द्वारा प्रकट किया जाता है।

(ii) किसी भी सजातीय श्रेणी के दो साथ-साथ वाले सदस्यों में (_CH.) ग्रुप का अंतर होता है।

(iii) किसी भी सजातीय श्रेणी के सभी सदस्य एक जैसे रासायनिक गुण प्रकट करते हैं।

(iv) किसी भी सजातीय श्रेणी के सदस्यों के भौतिक गुणों में अणु भार बढ़ने के साथ-साथ क्रमिक परिवर्तन होता है।

(v) किसी भी सजातीय श्रेणी के सदस्यों को एक-सी विधियों द्वारा तैयार किया जा सकता है।


28. हाइड्रोकार्बन क्या है ? उदाहरण के साथ समझाइए।अथवा, विभिन्न प्रकार के हाइड्रोकार्बन के नाम उदाहरण सहित लिखिए।

उत्तर⇒ हाइड्रोजन और कार्बन से बने यौगिक को हाइड्रोकार्बन कहते हैं। हाइड्रोकार्बन दो प्रकार के होते हैं –

(i) संतप्त हाइडोकार्बन – सहसंयोजक एकल बंधनों से जुड़े कार्बन एवं हाइड्रोजन के यौगिक संतृप्त हाइड्रोकार्बन कहलाते हैं। इन्हें ऐल्केन भी कहा जाता है इनका सामान्य रासायनिक सूत्र (CnH2n+2) जैसे-मिथेन।

(ii) असंतप्त हाइड्रोकार्बन – खूली शृंखलावाले वे हाइड्रोकार्बन जिनमें कार्बन परमाणुओं के बीच द्विबंधन अथवा त्रिबंधन उपस्थित रहते हैं, असंतृप्त हाइड्रोकार्बन कहलाते हैं। कार्बन परमाणुओं के बीच द्विबंधन रहने पर हाइड्रोकार्बन को ऐल्कीन (alkene) कहते हैं। ऐल्कीन का सामान्य सूत्र CnH2n है। कार्बन परमाणुओं के बीच त्रिबंधन रहने पर हाइड्रोकार्बन को ऐल्काइन (alkyne) कहते हैं। ऐल्काइन. का सामान्य सूत्र (CnH2n-2 है।


29. मिथाइल ऐल्कोहल किस प्रकार तैयार किया जाता है ?

उत्तर⇒ मिथाइल ऐल्कोहल को वुड ऐल्कोहल या वुड स्प्रिट भी कहते हैं । इसे लकड़ी के भंजन से प्राप्त किया गया था। इसे तैयार करने के लिए लकड़ी के छोटे-छोटे टुकड़ों को वायु की अनुपस्थिति में गर्म किया जाता है। मिथाइल ऐल्कोहल एक उत्पाद के रूप में प्राप्त हो जाता है। आजकल इसे जल गैस तथा हाइड्रोजन के मिश्रण को 300°C तक गर्म करने से प्राप्त किया जाता है।


30. एस्टर किसे कहते हैं ? इन्हें किस प्रकार बनाया जाता है ? इनके दो उपयोग लिखिए।

उत्तर⇒जिन कार्बनिक यौगिकों का अभिलक्षकीय ग्रुप -C00- होता है, एस्टर कहलाते हैं। इनके निर्माण के लिए कार्बनिक अम्लों की सल्फ्यूरिक अम्ल की उपस्थिति में एल्कोहल से क्रिया कराई जाती है।

उपयोग – इनकी गंध फलों के समान होती है इसलिए इनका उपयोग ठंडे पेयों, आइसक्रीम, मिठाइयों तथा परफ्यूमों में होता है। ये फलों में भी पाए जाते हैं।


31. साबुनीकरण किसे कहते हैं ? प्रयोगशाला में साबुन किस प्रकार बनाते हैं ? वर्णन कीजिए।

उत्तर⇒जब वसा या तेल को NaOH के साथ गर्म किया जाता है तो वसा या तेल के अणु विघटित हो जाते हैं। इस प्रक्रिया को साबनीकरण कहते हैं जिसके फलस्वरूप साबुन बनता है।

प्रयोगशाला में साबुन की तैयारी —प्रयोगशाला में साबुन तैयार करने के लिए निम्नलिखित सामग्री चाहिए –
(i) वनस्पति तेल (जैसे, कैस्टर तेल, कॉटन सीड्ड तेल)
(ii) सोडियम हाइड्रोक्साइड (कास्टिक सोडा)
(iii) सोडियम क्लोराइड (साधारण नम)

विधि – एक बीकर में 20 mL.कैस्टर ल लीजिए और उस 20%, 40 mLसोडियम हाइड्रोक्साइड का घोल डालिए। इस मिश्रण को धीरे-धीरे उबलने तक गर्म किया जाता है और इसेपाँच से दस मिनट तक उबालाजाता है। अब बीकर में 5 ग्राम खाने वाला नमक डालिए औरश्रृंखला पदार्थ को ठंडा होने दीजिए।ठंडा करने पर बीकर में साबुनजल बनता है जिसे तब हटा लिया जाता है ।


32. अपमार्जक किसे कहते हैं ? संश्लिष्ट अपमार्जक की संरचना बताइए। इसका प्रमुख लाभ लिखिए।

उत्तर⇒सफाई के लिए प्रयुक्त होने वाले पदार्थों को अपमार्जक कहते हैं। बहुत पहले से अपमार्जक के रूप में साबुन का प्रयोग होता रहा है परंतु आजकल संश्लिष्ट अपमार्जक अधिक लोकप्रिय हो गए हैं। संश्लिष्ट अपमार्जक में दो सिरों वाले अणु होते हैं जिनका एक सिरा जल को आकर्षित करता है जो प्रायः सल्फेट (-SO 4) या सल्फोनेट (-SO3Na) ग्रुप द्वारा बना होता है ।दूसरा सिरा जल को प्रतिकर्षित करता है जो हाइड्रोकार्बन युक्त होता है।
संश्लिष्ट अपमार्जक कठोर जल में भी पर्याप्त मात्रा में झाग बनाते हैं। ये कठोर जल के साथ अघुलनशील कैल्सियम या मैग्नेशियम के लवण नहीं बनाते हैं।


33. क्या कारण है कि ग्रेफाइट विद्युत् का सुचालक है ?

उत्तर⇒ ग्रेफाइट में प्रत्येक कार्बन परमाणु केवल तीन कार्बन परमाणुओं से सहसंयोजक बंधों द्वारा जुड़ा रहता है तथा जिस कारण इसमें षट्कोणीय जाल की परतें बनाते हैं। इसमें कार्बन परमाणुओं के बीच की दूरी अधिक होती है। परतों के मध्य इस दूरी के कारण विपरीत परतों में स्थित कार्बन परमाणुओं के बीच सहसंयोजक बंधों के बनने की संभावना समाप्त हो जाती है और चौथा संयोजक इलेक्ट्रॉन स्वतंत्र छूट जाता है। इसीलिए ग्रेफाइट में इलेक्ट्रॉनों का प्रवाह आसानी से हो जाता है और ग्रेफाइट विद्युत् का सुचालक हो जाता है।


34. रासायनिक संरचना के आधार पर साबुन एवं अपमार्जक में विभेद कीजिए।
उत्तर⇒

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